इलाज कराने से करता था इंकार, अनपढ़ कहकर करता था अपमानित…!
बिलासपुर [जनहित न्यूज़] पति की लगातार प्रताड़ना और उपेक्षा ने आखिरकार एक महिला की जिंदगी छीन ली। सरकंडा थाना क्षेत्र में रहने वाली 24 वर्षीय सुलोचना देवांगन ने मानसिक और शारीरिक पीड़ा से तंग आकर फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। पुलिस ने आरोपी पति अंकित उर्फ निक्कू देवांगन (26 वर्ष) को गिरफ्तार कर न्यायिक रिमांड पर भेज दिया है। घटना का दर्दनाक सिलसिला जानकारी के अनुसार, सुलोचना और अंकित देवांगन का विवाह फरवरी 2023 में हुआ था। उनकी एक डेढ़ साल की बेटी है। सुलोचना का स्वास्थ्य अक्सर खराब रहता था और वह इलाज के लिए पति से बार-बार निवेदन करती थी, लेकिन पति इलाज कराने से बचता था और आए दिन उसे अनपढ़ कहकर ताने मारता और मानसिक व शारीरिक रूप से प्रताड़ित करता था।
इन्हीं यातनाओं से तंग आकर 5 अप्रैल 2025 की सुबह सुलोचना ने घर के कमरे में सीलिंग फैन से गमछे का फंदा लगाकर अपनी जीवनलीला समाप्त कर ली।
पुलिस की तत्पर कार्रवाई:
घटना की सूचना पर सरकंडा पुलिस ने मर्ग कायम कर जांच शुरू की। मृतिका के परिजनों और गवाहों के बयान के आधार पर मामला आत्महत्या के लिए उकसाने का पाया गया। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक रजनेश सिंह के निर्देश पर थाना सरकंडा में आरोपी के विरुद्ध अपराध क्रमांक 1041/2025 धारा 108(बी) बीएनएस के तहत मामला दर्ज किया गया।
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक राजेन्द्र जायसवाल और सीएसपी सिद्धार्थ बघेल के मार्गदर्शन में निरीक्षक निलेश पाण्डेय ने आरोपी को तलब कर पूछताछ की। आरोपी ने अपराध स्वीकार कर लिया, जिसके बाद उसे गिरफ्तार कर न्यायिक रिमांड पर भेजा गया।
सामाजिक संदेश:
यह दर्दनाक घटना समाज के लिए एक गहरी सीख छोड़ जाती है।
मानसिक व भावनात्मक प्रताड़ना भी अपराध है, जिसे हल्के में लेना जीवन को खत्म कर सकता है।
समय पर इलाज और संवेदनशील व्यवहार न केवल रिश्तों को बचा सकता है, बल्कि कई जिंदगियाँ भी।
महिलाओं के अधिकार और सुरक्षा की अनदेखी अब अपराध की श्रेणी में आती है।
समाज को चाहिए कि ऐसी घटनाओं पर चुप न रहे, बल्कि पीड़ितों की मदद और कानूनी कार्रवाई के लिए आगे आए, ताकि कोई और सुलोचना अपनी जिंदगी यूँ खत्म करने को मजबूर न हो।

