स्पष्ट बोले कलेक्टर संजय अग्रवाल जनहित सर्वोपरि…अधिकारी बड़े आदेश की न करें प्रतीक्षा…आवश्यकतानुसार मौके पर ही ले उचित निर्णय…
बिलासपुर-{जनहित न्यूज़}अतिवृष्टि और बाढ़ की चुनौतीपूर्ण स्थिति में बिलासपुर प्रशासन एकजुट होकर राहत कार्यों में जुट गया है। जिले के कलेक्टर संजय अग्रवाल और वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक रजनेश सिंह के नेतृत्व में प्रशासनिक और पुलिस तंत्र ने बेहतरीन तालमेल का परिचय देते हुए लोगों को राहत पहुंचाने कई ठोस कदम उठाए हैं।

आपातकालीन बैठक लेकर कलेक्टर व एसएसपी ने सभी विभागीय अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिए कि अब दफ्तर नहीं, फील्ड में नजर आना है। अधिकारी संयुक्त टीम बनाकर ग्रामीण क्षेत्रों का दौरा करें, लोगों की समस्याएं मौके पर ही सुनें और तत्काल राहत पहुंचाएं।
बाढ़ से प्रभावित क्षेत्रों में तत्काल राहत की कार्यवाही कलेक्टर अग्रवाल ने कहा कि आरबीसी 6-4 के तहत क्षति का त्वरित सर्वे कर राहत राशि उपलब्ध कराई जाए। लोगों को स्कूल, आंगनबाड़ी जैसे सुरक्षित स्थलों में अस्थाई रूप से बसाने के निर्देश भी दिए गए। खाद्य सामग्री, स्वच्छ पेयजल और दवाओं की व्यवस्था को सर्वोच्च प्राथमिकता दी जा रही है।
शहर और ग्रामीण क्षेत्रों में जलभराव की स्थिति से निपटने के लिए कच्चे नाले बनाकर जल निकासी की गई है। बिल्हा, मस्तुरी, कोटा, तखतपुर और शहर के गोकने नाला क्षेत्र जैसे संवेदनशील इलाकों में नियमित निगरानी की जा रही है।

बचाव दल सतर्क, होमगार्ड्स अलर्ट मोड में
कलेक्टर ने बताया कि पांच नाव, दो रेस्क्यू टीमें 24×7 तैनात हैं। ग्रामीण क्षेत्रों में स्थानीय तैराकों और मछुआरों की मदद भी ली जा रही है। गांवों में मुनादी कर लोगों को सतर्क रहने की अपील की गई है।
सख्त चेतावनी: पुल पर बहते पानी में पार न करें…
प्रशासन ने आमजन से पुलों पर बहते पानी में पार न करने की अपील की है। बैरिकेडिंग और ट्रैक्टर-ट्राली के माध्यम से यातायात प्रतिबंधित किया जा रहा है, जिससे दुर्घटनाओं से बचा जा सके।
स्वास्थ्य और कानून व्यवस्था पर भी पैनी नजर
कलेक्टर ने स्वास्थ्य विभाग को डायरिया जैसी बीमारियों से निपटने की पूरी तैयारी रखने के निर्देश दिए हैं। वहीं एसएसपी रजनेश सिंह ने कानून-व्यवस्था बनाए रखने, अफवाहों पर नियंत्रण और सोशल मीडिया पर सतर्क निगरानी का आदेश दिया। उन्होंने कहा कि संकट की इस घड़ी में प्रशासन और पुलिस का समन्वित प्रयास ही लोगों में भरोसे का कारण बनता है।

उन्होंने सभी राजस्व और पुलिस अधिकारियों को अपने-अपने क्षेत्र में संयुक्त बैठक कर स्थानीय स्थिति की समीक्षा और राहत कार्यों को गति देने को कहा।
जनहित में त्वरित निर्णय का अधिकार
कलेक्टर ने स्पष्ट किया कि किसी भी अधिकारी को किसी बड़े आदेश की प्रतीक्षा करने की आवश्यकता नहीं जनहित सर्वोपरि है, ज़रूरी निर्णय मौके पर लें।

संवेदनशीलता और सक्रियता का परिचय
बैठक में जिला पंचायत सीईओ संदीप अग्रवाल, एडीएम शिवकुमार बनर्जी सहित तमाम वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे और बाढ़ राहत कार्यों को युद्धस्तर पर क्रियान्वित करने की रणनीति तय की गई। बाढ़ जैसे आपदा की घड़ी में बिलासपुर प्रशासन का सक्रिय और समन्वित रवैया न केवल संकट से निपटने में कारगर रहा है, बल्कि जनता के विश्वास को भी मजबूत किया है। कलेक्टर और एसएसपी की अगुवाई में प्रशासनिक दक्षता और मानवीय संवेदना का अनुपम उदाहरण पेश किया गया है।

